किसान सत्याग्रह आंदोलन
उत्तर प्रदेश आवास विकास परिषद की मंडोला विहार योजना से सम्बंधित अधिकारियो की मिलीभगत से अधिग्रहित जमीन में अवैध मिटटी खनन कराकर गहरे गढ्ढे कराये गए हैं जिनमे अनुपयोगी प्लाष्टिक के कचरे को डम्प कराकर आग के हवाले कराया जा रहा है जिसकी वजह से क्षेत्र में वायु प्रदूषण इतना बढ़ गया है कि साँस लेना दूभर हो रहा है कई बार ग्रामीणों ने फायर विग्रेड की मदद से आग बुझवाई है इस ज्वलन्त समस्या की शिकायत लोनी SDM से भी की गई और SDM साहब को योजना में डम्प किये गए कचरे को भी दिखाया गया लेकिन समस्या से निजात नही मिला ।
रोजाना इलेक्ट्रिक प्लेटो के एक या दो ढेर को आग के हवाले किया जा रहा है मंडोला विहार योजना से प्रभावित 6 गांव के धरनारत किसान जहरीले धुँआ फैलाने के लिए आवास विकास परिषद के अधिकारियो को दोषी मान रहे हैं किसानो का कहना है की यदि अधिग्रहित जमीन में कोई किसान ट्रेक्टर आदि कृषि यन्त्र लेकर कुछ देर के लिए अधिग्रहित जमीन में खड़ा भी हो जाता है तो विभाग के गार्ड व् अन्य कर्मचारी उसके पास इस आशय से आकर खड़े हो जाते हैं कहीं किसान अधिग्रहित जमीन की जुताई करने के उद्देश्य से तो यहां ट्रेक्टर लेकर नही खड़ा है।
जमीन अधिग्रहित जमीन की रखवाली परिषद के कर्मचारी दिन रात करते हैं इसके बावजूद भी योजना में सैकड़ो ट्रक अनुपयोगी प्लास्टिक का कचरा गिरा कर आग के हवाले कराया जा रहा है जिसकी वजह से वातावरण में जहरीला धुँआ लगातार उड़ रहा है । आज धरनारत किसानो ने सर्वसम्मति से आवास विकास परिषद के अधिकारियो पर प्रदूषण फैलाने का दोषी ठहराए जाने के बाद उन पर कानूनी कार्यवाही किये जाने व् इलेक्ट्रिक प्लेटो के कचरे को यहां से उठवाने तक कल दिनांक 30/10/2019 को कार्यालय की तालाबन्दी करने का निर्णय लिया है ।
क्षेत्र के सभी किसान मजदूर व् अन्य सभी लोग कल धरना स्थल पर ज्यादा से ज्यादा संख्या में उपस्थित रहकर वातावरण को दूषित करने वाले अधिकारियो के खिलाप अपनी आवाज बुलंद करके सम्बंधित अधिकारियो का ध्यान ज्वलन्त समस्या की ओर आकर्षित कराएंगे । आज धरने पर सैकड़ो महिला व् पुरुष उपस्थित रहे।
6 गांव के किसानों ने दिया धरना प्रदर्शन